प्रभावशाली मंत्री अजय चंद्राकर के खिलाफ एफ आई आर दर्ज करने नई राजधानी के राखी थाने पहुंची मंजीत कौर.
छत्तीसगढ़ के एक प्रभावशाली मंत्री अजय चंद्राकर के खिलाफ एफ आई आर दर्ज करने नई राजधानी के राखी थाने पहुंची मंजीत कौर.
प्रभावशाली मंत्री का नाम देखकर पुलिस के हाथ-पांव फूले। राखी थाने के प्रभारी ने मंजीत कौर से मैडम हम लोग मर जाएंगे। काफी हील-हुज्जत और हंगामे के बाद पुलिस शिकायत की प्रति रखने को तैयार हुई। अब मंजीत कौर रायपुर के पुलिस अधीक्षक को शिकायत सौपने जा रही है। मंजीत कौर का कहना है मंत्री ने उसके साथ और प्रशिक्षु महिलाओं के साथ जिस तरह की बात......... कही है उसके बाद तो वह एफ आई आर दर्ज करवाकर ही रहेगी। कौर ने कहा कि यदि पुलिस ने एफ आई आर दर्ज नहीं की तो वह अदालत तक जाएगी।
क्या मैं जहर खाकर मर जाऊंगी तब लिखोगे एफआईआर....यह कहना है मंजीत कौर का। एक प्रभावशाली मंत्री के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करवाने जब कौर नई राजधानी के राखी थाने पहुंची तो वहां मौजूद पुलिसकर्मियों के हाथ-पांव फूल गए। पुलिसवालों ने कहा- मैडम आपकी रिपोर्ट लिखी तो हम लोग मर जाएंगे। राखी थाने वालों ने शिकायत रख ली है। कौर ने अपनी शिकायत लेकर एक वरिष्ठ पुलिस अफसर से मुलाकात तो अफसर ने उन्हें भारतीय दंड विधान का मतलब समझाना चाहा। कौर को कहना पड़ा- सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दे रखा है कि अगर कोई महिला रिपोर्ट दर्ज करवाना चाहे तो सर्वप्रथम उसकी रिपोर्ट लिखी जानी चाहिए लेकिन सब मंत्री को बचाने में लग गए हैं....क्या मैं जहर खाकर मर जाऊंगी तब मेरी एफआईआर लिखी जाएगी।
क्या मैं जहर खाकर मर जाऊंगी तब लिखोगे एफआईआर....यह कहना है मंजीत कौर का। एक प्रभावशाली मंत्री के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करवाने जब कौर नई राजधानी के राखी थाने पहुंची तो वहां मौजूद पुलिसकर्मियों के हाथ-पांव फूल गए। पुलिसवालों ने कहा- मैडम आपकी रिपोर्ट लिखी तो हम लोग मर जाएंगे। राखी थाने वालों ने शिकायत रख ली है। कौर ने अपनी शिकायत लेकर एक वरिष्ठ पुलिस अफसर से मुलाकात तो अफसर ने उन्हें भारतीय दंड विधान का मतलब समझाना चाहा। कौर को कहना पड़ा- सुप्रीम कोर्ट ने आदेश दे रखा है कि अगर कोई महिला रिपोर्ट दर्ज करवाना चाहे तो सर्वप्रथम उसकी रिपोर्ट लिखी जानी चाहिए लेकिन सब मंत्री को बचाने में लग गए हैं....क्या मैं जहर खाकर मर जाऊंगी तब मेरी एफआईआर लिखी जाएगी।
कौर की बात सुनकर अफसर ने कहा- मैडम आप शिकायत छोड़ दीजिए। देखता हूं क्या कर सकता हूं।
राज्य में लगातार जो कुछ घट रहा है उसे देखकर क्षोभ होता है। कही खेत में काम करते हुए नौजवानों को माओवादी बताकर मार दिया जाता है तो कहीं महिलाओं के साथ बलात्कार किया जाता है। कोई मजिस्ट्रेट की पिटाई करता है तो कोई दूधमुंहे बच्चे का दूध छिनने में लगा हुआ है।
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