लेकिन आरती अभी भी लड़ रही है ; एक और सोनी सोढ़ी
आरती मांझी सोनी सोरी जितनी भाग्यवान नहीं थी। इसलिए आरती मांझी के बारे में ''सभ्य '' लोगों
ने कोई चर्चा भी नहीं करी।
सन दो हज़ार दस में आरती मांझी को सुरक्षा बलों उड़ीसा में उसके घर से पकड़ा।
सुरक्षा बलों के कैम्प और थाने में उसके साथ एक महीने तक बलात्कार किया गया ।
बाद में पुलिस ने आरती मांझी को सात फ़र्ज़ी मामलों में फंसा कर जेल में डाल दिया।
आरती मांझी को कोर्ट ने सातों मामलों में निर्दोष पाया। इसी साल आरती मांझी को छोड़ दिया गया।
आरती मांझी अपने घर आ गयी।
आरती मांझी ने अपने साथ हुए अन्याय के खिलाफ अदालत में गुहार लगाई।
लेकिन किसी पुलिस वाले के खिलाफ कोई कार्यवाही नहीं हुई।
आरती के लिए आवाज़ उठाने वाले सामाजिक कार्यकर्त्ता दंडपाणी महंती को पुलिस ने जेल में डाल
दिया।
अभी हाल ही में उड़ीसा में आये तूफ़ान में आरती मांझी का घर नष्ट हो गया।
लेकिन सरकार ने उसके परिवार को कोई मदद नहीं करी। क्योंकि आरती मांझी सरकार के खिलाफ
मुकदमा करती है।
लेकिन आरती अभी भी लड़ रही है।
हनुमान की मूर्ती की आरती में मस्त इस ''धर्मपरायण'' देश में उड़ीसा की इस आरती की तरफदेखने
का किसी को वख्त नहीं है।
[हिमांशु कुमार की पोस्ट ]
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