Wednesday, June 24, 2015

साठ किलोमीटर पैदल चलके आदिवासी पहुंचे संघर्ष को ,सुकमा


साठ  किलोमीटर पैदल चलके आदिवासी पहुंचे संघर्ष को ,सुकमा 







आदिवासियों की ज़मीनों को छीन कर बड़े उद्योगपतियों को देने के लिए छत्तीसगढ़ की भाजपा सरकार आदिवासियों को डराने के लिए आदिवासियों की हत्या करवा रही है , आदिवासी महिलाओं से पुलिस भेज कर बलात्कार करवा रही है , निर्दोष युवकों को फर्ज़ी मुकदमे बना कर जेलों में ठूंस रही है .
इन सब सरकारी क्रूरता के विरुद्ध आदिवासियों ने सत्याग्रह शुरू किया है . एक सप्ताह से चल रहे धरने को तोंगपाल से सुकमा जिला मुख्यालय में ले जाने का निर्णय लिया गया . साठ किलोमीटर लंबा सफर पैदल ही करने का निर्णय लिया गया .
कल रात दस हज़ार से ज़्यादा आदिवासी महिलायें बुज़ुर्ग बच्चे तीस किलोमीटर पैदल चल कर कूकानार गाँव के पास रात को जंगल में सोये .
आज सुबह आदिवासियों का मार्च फिर से शुरू हुआ है . इस पूरे अहिंसक संघर्ष में सोनी सोरी आदिवासियों के साथ है .
आदिवासियों के इस अहिंसक संघर्ष से घबराई हुई भाजपा सरकार धमकियों पर उतर आयी है . पुलिस अधिकारियों ने आदिवासियों को धमकी दी है कि अगर तुम आदिवासी लोग यह रैली करोगे तो पुलिस तुम्हारे गांव में आकर आदिवासियों के पूरे गाँव को जला देगी .
रमन सिंह के दमन राज के खात्मे की उल्टी गिनती शुरू .

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